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| Article Name : | | | विषमता के प्रतिस्फोटक कवि नामदेव ढसाळ | | Author Name : | | | आनंदा मारुती कांबळे | | Publisher : | | | Ashok Yakkaldevi | | Article Series No. : | | | ROR-13541 | | Article : | |  | Author Profile | | Abstract : | | | 1960 के बाद मराठी कविता में सामाजिक चेतना की एक के बाद एक धारा सामने आई। पत्र-पत्रिकाओं में उत्तेजक कविताओं के साथ-साथ दलित कविता और कम्युनिस्ट कविता की धाराओं के माध्यम से स्थापित व्यवस्था के खिलाफ विरोध भी व्यापक रूप से व्यक्त किया गया था। | | Keywords : | | - कवी नामदेव ढसाळ,मराठी कविता में सामाजिक चेतना,
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